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ISRO ने कैप्चर किए सोलर इवेंट के निशान:पृथ्वी, सूर्य-पृथ्वी के L1 पॉइंट और चंद्रमा से सोलर स्टॉर्म की तस्वीरें लीं

इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गेनाइजेशन (ISRO) ने हाल ही में आए सोलर इरप्टिव इवेंट को अंतरिक्ष में तीन अलग लोकेशन से कैप्चर किया। ये तीन लोकेशंस हैं- पृथ्वी, पृथ्वी और सूर्य के बीच L1 पॉइंट और चंद्रमा। इस सोलर इवेंट को सोलर स्टॉर्म यानी सौर आंधी भी कहा जाता है।

इसरो ने इस सोलर स्टॉर्म के सभी सिग्नेचर्स को रिकॉर्ड करने के लिए अपने सभी ऑब्जर्वेशन प्लेटफॉर्म और सिस्टम्स को तैनात कर दिया था। सोलर स्टॉर्म का असर पृथ्वी पर शनिवार को देखा गया। आदित्य L1 यान और चंद्रयान-2 ने इस इवेंट को लेकर ऑब्जर्वेशन रिकॉर्ड किए और इसकी हलचल को एनालाइज किया।

दिल्ली-NCR के लोगों को जाम से मिलेगी मुक्ति, 6-12 मिनट में पहुंचाएगी एयर टैक्सी, ये रूट हुए फाइनल

इस परियोजना से सबसे अधिक फायदा उन लोगों को होने वाला है जिनका प्रतिदिन नोएडा गाजियाबाद दिल्ली फरीदाबाद गुरुग्राम आना-जाना होता है। एनसीआर के जाम में फंस कर उनका घंटों समय व पैसा बर्बाद होता है। इस परियोजना से प्रतिदिन दिल्ली एनसीआर के शहरों के लोग छह से 12 मिनट खर्च कर एयर टैक्सी के माध्यम से अपने गंतव्य तक आसानी से आ जा सकेंगे। इससे उनका समय भी बचेगा।

दिल्ली-NCR के लोगों को जाम से मिलेगी मुक्ति, 6-12 मिनट में पहुंचाएगी एयर टैक्सी, ये रूट हुए फाइनल
एयर टैक्सी के रूट हुए फाइनल, 6 मिनट में दिल्ली से पहुंच जाएंगे गुरुग्राम। फाइल फोटो
दो वर्ष में धरातल पर परियोजना को उतारने की योजना
सर्वे का काम पूरा नोएडा, गाजियाबाद, दिल्ली, फरीदाबाद, गुरुग्राम में 48 हेलीपोर्ट बनेंगे
कुंदन तिवारी, नोएडा। मिनिस्ट्री ऑफ सिविल एविएशन (एमओसीए), मिनिस्ट्री ऑफ होम एफेयर (एमएचए), डायरेक्टरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन (डीजीसीए), एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एएआई), डिजिटल स्काई के संयुक्त प्रयास से पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) माडल पर एयर टैक्सी (इलेक्ट्रिक व्हीकल एयर ड्रोन) का संचालन करने की योजना है।

देश में इस योजना को पहली बार एनसीआर में शुरू किया जाएगा, जिसके सर्वे का काम पूरा हो चुका है। सर्वे में छह रूट पर पर एयर टैक्सी संचालित की योजना है। इसके लिए एनसीआर में 48 स्थानों पर हेलीपोर्ट का निर्माण होगा।

रोजाना यात्रा करने वालों को होगा सबसे ज्यादा फायदा
हालांकि लोकसभा चुनाव के कारण आदर्श आचार संहिता लगी हुई है। इसलिए परियोजना पर काम धीमी गति से चल रहा है, लेकिन परियोजना को धरातल पर उतरकर लोगों को लाभांवित करने के लिए दो वर्ष की समय सीमा निर्धारित की गई है।

बता दें कि इस परियोजना से सबसे अधिक फायदा उन लोगों को होने वाला है, जिनका प्रतिदिन नोएडा, गाजियाबाद, दिल्ली, फरीदाबाद, गुरुग्राम आना-जाना होता है।

एनसीआर के जाम में फंस कर उनका घंटों समय व पैसा बर्बाद होता है। इस परियोजना से प्रतिदिन दिल्ली एनसीआर के शहरों के लोग छह से 12 मिनट खर्च कर एयर टैक्सी के माध्यम से अपने गंतव्य तक आसानी से आ जा सकेंगे। इससे उनका समय की बचत होगी।

एनसीआर में छह रूट पर एयर टैक्सी संचालित की जाएगी। सर्वे का काम पूरा हो चुका है। हेलीपोर्ट बनाने के लिए 48 प्वाइंट लोकेट कर लिया गया है। अभी निर्माण शुरू होना बाकी है। नोएडा में सेक्टर-128 स्थित जेपी विश टाउन, सेक्टर-16 ए फिल्म सिटी, सेक्टर-38 ए स्थित गार्डन गैलेरिया समेत दस व ग्रेटर नोएडा 4 हेलीपोर्ट बनाए जाएंगे।-धर्मेद्र नागर, निदेशक, वीक्राफ्ट।

यह रूट हो चुके हैं निर्धारित
दिल्ली से गुरुग्राम
दिल्ली से नोएडा
दिल्ली से जेवर एयरपोर्ट
दिल्ली से फरीदाबाद
दिल्ली से मेरठ एयरपोर्ट
दिल्ली से रोहणी हेलीपोर्ट
यहां पर बनाएं जाएंगे हेलीपोर्ट
स्थान संख्या
नोएडा 10
दिल्ली 18
गुरुग्राम 12
ग्रेटर नोएडा 4
फरीदाबाद 2
गाजियाबाद 3

चंद्रयान-3 अंतरिक्ष में कचरे से टकराकर नष्ट हो सकता था:वैज्ञानिकों ने लॉन्चिंग में 4 सेकेंड की देरी कर इसे बचाया, ISRO की रिपोर्ट में खुलासा

भारत का चंद्रयान-3 स्पेसक्राफ्ट चांद पर पहुंचने से पहले ही अंतरिक्ष में कचरे और सैटेलाइट से टकराकर नष्ट हो सकता था। ISRO के वैज्ञानिकों ने इससे बचने के लिए लॉन्चिंग 4 सेकेंड देरी से की थी। ISRO चेयरमैन एस. सोमनाथ ने हाल ही में इंडियन स्पेस सिचुएशनल असेसमेंट रिपोर्ट (ISSAR) 2023 जारी की है। इस रिपोर्ट में ये जानकारी सामने आई है। चंद्रयान को जुलाई 2023 में लॉन्च किया गया था।

14 जुलाई 2023 को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से LVM3-M4 रॉकेट के जरिए चंद्रयान-3 को लॉन्च किया गया था।
14 जुलाई 2023 को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से LVM3-M4 रॉकेट के जरिए चंद्रयान-3 को लॉन्च किया गया था।
टकराव से बचने के लिए ISRO करता है एनालिसिस लॉन्च व्हीकल्स के लिफ्ट-ऑफ क्लियरेंस के लिए ISRO कोलिजन अवॉइडेंस एनालिसिस करता है। इसे शॉर्ट में COLA कहते हैं। ये ISRO का मैंडेटरी लॉन्च क्लियरेंस प्रोटोकॉल है। ऐसा किसी भी टकराव से बचने के लिए किया जाता है।

दो बेबी स्टार्स के पास मिला मार्गरीटा कॉकटेल बनाने वाला पदार्थ, NASA ने शेयर की तस्वीरें

James Webb Telescope NASA ने अपने इंस्टाग्राम पर कुछ तस्वीरें साझा की हैं। जिसके बाद से लोगों के जहन में कई सवाल उठ रहे हैं। NASA ने अंतरिक्ष में मार्गरीटा सिरका और चींटी के डंक से उत्पन होने वाले पदार्थों की खोज की है। NASA का कहना है कि शायद अंतरिक्ष में बेबी स्टार्स के पास कुछ नए गृह बन रहे हैं।

James Webb Telescope: दो बेबी स्टार्स के पास मिला मार्गरीटा कॉकटेल बनाने वाला पदार्थ
अंतरिक्ष में मिला मार्गरीटा कॉकटेल बनाने वाला पदार्थ